टाइप-1 मधुमेह से पीड़ित 10वीं-12वीं बोर्ड के परीक्षार्थी अपने साथ दवा और खाना ले जा सकेंगे। केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा परिषद (सीबीएसई) ने इसके लिए नया सर्कुलर जारी कर दिया है। बताया कि 16 फरवरी से शुरू होने वाली परीक्षाओं में इस सुविधा का लाभ उठाने के लिए बोर्ड के संबंधित क्षेत्रीय कार्यालय में सभी सहायक दस्तावेजों के साथ आवेदन जमा करना होगा।
सीबीएसई के परीक्षा नियंत्रक डॉ. संयम भारद्वाज ने सर्कुलर जारी किया है। जिसमें कहा गया है कि टाइप-1 मधुमेह से पीड़ित परीक्षार्थियों की समस्याओं पर बोर्ड ने विचार किया है। विशेषज्ञों की मदद से इन छात्रों को दी जाने वाली सुविधाओं की समीक्षा की है।
टाइप-1 मधुमेह से पीड़ित छात्रों को बोर्ड परीक्षा में सुविधाएं देने का निर्णय लिया है। बोर्ड ने कहा कि सुविधाओं का लाभ छात्रों को देने को लेकर स्कूलों को आवेदन करना होगा। बोर्ड परीक्षाओं में टाइप-1 मधुमेह पीड़ित जो छात्र सुविधा/छूट का लाभ उठाना चाहते हैं उनकी जानकारी एलओसी (लिस्ट ऑफ कैंडिडेट) के पंजीकरण/जमा करने के दौरान देनी होगी।
वहीं, ऑनलाइन आवेदन के दौरान सीजीएम / एफजीएम/ इन्सुलिन पंप के लिए विशेषज्ञ डॉक्टरों की सिफारिश और माता-पिता का वचन पत्र, कि मशीन/पंप परीक्षा की सुरक्षा में बाधा नहीं बनेंगे, के दस्तावेज पोर्टल पर अपलोड करने होंगे।
परीक्षा कक्ष में ये सामग्री ले जा सकेंगे
पारदर्शी थैली/बॉक्स में शुगर टैबलेट/चॉकलेट/कैंडी, केला/सेब/संतरा जैसे फल, सैंडविच और कोई भी हाईप्रोटीन डाइट, डॉक्टर के प्रि्क्रिरप्शन के अनुसार दवाएं, पानी की बोतल (500 एमएल), ग्लूकोमीटर और ग्लूकोज परीक्षण स्ट्रिप्स, सतत ग्लूकोज मॉनीटरिंग (सीजीएम) मशीन, फ्लैश ग्लूकोज मॉनिटरिंग (एफजीएम) मशीन या इंसुलिन पंप
टाइप-1 मधुमेह से पीड़ित छात्रों की सुविधा के लिए बोर्ड ने छूट प्रदान की है। लाभ उठाने के लिए स्कूलों को बोर्ड के पास आवेदन करना होगा। सभी जानकारी बोर्ड के सर्कुलर में दी गई एसओपी से ली जा सकेगी।